रुद्रप्रयाग-: केदारनाथ धाम यात्रा 2025 2 मई से शुरू होने जा रही है। इस वर्ष भी यात्रा को सुचारु एवं सुरक्षित रूप से संपन्न कराने को जिला प्रशासन एवं पुलिस विभाग द्वारा अपनी तैयारियां पूरी कर ली गयी है व यात्रियों की सुरक्षा व सहायता के लिए प्रतिबद्धता दर्शायी है। जिस क्रम में जिलाधिकारी सौरभ गहरवार ने आज जिला सभागार कक्ष में विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की और यात्रा तैयारियों की समीक्षा की।
प्रशासनिक तैयारियों की समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी सौरभ गहरवार ने कहा कि पैदल यात्रा मार्ग पर रात्रि के समय समुचित रोशनी की व्यवस्था की जानी चाहिए ताकि श्रद्धालुओं को किसी प्रकार की असुविधा न हो। साथ ही, ठंड से बचाव के लिए स्थान-स्थान पर अलाव एवं गर्म पानी की व्यवस्था सुनिश्चित करने को कहा गया। उन्होंने यह भी निर्देश दिए कि यात्रा के सभी पड़ावों पर साफ-सफाई की विशेष व्यवस्था की जाए।
जिलाधिकारी ने आरटीओ विभाग को निर्देशित किया कि सभी सेक्टर मजिस्ट्रेटों के वाहनों में जल्द से जल्द जीपीएस लगाए जाने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। इसके अतिरिक्त, यात्रा मार्ग पर विभिन्न स्थलों पर पर्यटन मित्रों की तैनाती की जाए जो न केवल श्रद्धालुओं की सहायता करें, बल्कि सफाई व्यवस्था में भी सहयोग करें। जिलाधिकारी ने पशुपालन विभाग को निर्देश दिए कि प्रत्येक घोड़े-खच्चर के साथ अनिवार्य रूप से हॉकर्स (घोड़ा संचालन करने वाले कर्मचारी) की तैनाती सुनिश्चित की जाए, ताकि पशुओं की स्वास्थ्य और सुरक्षा पर लगातार निगरानी रखी जा सके।
बैठक में कप्तान अक्षय प्रल्हाद कोंडे ने जानकारी दी कि केदारनाथ संगम ब्रिज के समीप टोकन काउंटर लगाए जा रहे हैं, ताकि श्रद्धालुओं को दर्शन में सुगमता हो। उन्होंने बताया कि पूर्व में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ के कारण मंदिर में दर्शन के लिए 3 से 4 घंटे तक लग जाते थे, लेकिन इस बार दर्शन हेतु अधिकतम 1 घंटे की समयावधि सुनिश्चित की गई है। भीड़ नियंत्रण के लिए एक सुस्पष्ट डाइवर्जन प्लान भी तैयार किया गया है। यातायात व्यवस्था के बारे में उन्होने बताया कि बांसवाड़ा यातायात के दृष्टिगत महत्तवपूर्ण प्वाइन्ट रहेगा सारे यात्री वाहन यहीं से भेजे जायेंगे। जाने वाले वाहनों के लिए बांसवाड़ा से पस्ताबैंण्ड (बसुकेदार) होते हुए लमगौण्डी तिराहे से गुप्तकाशी होते हुए सोनप्रयाग की ओर तथा इसी प्रकार से वापसी कालीमठ तिराहा से चुन्नी बैंण्ड व तदोपरान्त कुण्ड की ओर भेजा जायेगा। स्थानीय और राजकीय कार्य में लगे वाहन को इससे छूट रहेगी।
स्वच्छता व्यवस्था को और अधिक मजबूत करने के लिए पैदल यात्रा मार्ग पर हर 50 मीटर की दूरी पर एक पर्यावरण मित्र की तैनाती की जा रही है। यानी औसतन हर किलोमीटर पर 20 पर्यावरण मित्र सेवा में लगाए जाएंगे। स्वच्छता व्यवस्था में सक्रिय रिसाइकल संस्था के साथ मिलकर इस वर्ष भी कूड़े के निस्तारण की प्रभावी योजना तैयार की गई है। इसके लिए एक विशेष कॉम्पैक्टर भी जल्द ही केदारपुरी पहुंचने वाला है।
इस अवसर पर डीपीआरओ प्रेम सिंह रावत ने बताया कि यात्रा मार्ग पर स्थित ग्राम सभाओं को स्वच्छता अभियान से जोड़ने के लिए उन्हें विशेष बजट आवंटित किया गया है, जिससे सड़क किनारे की झाड़ियां, प्लास्टिक कचरा और अन्य अपशिष्टों की सफाई की जा सकेगी।
जिला प्रशासन के निर्देश पर सुलभ इंटरनेशनल ने केदारनाथ पैदल मार्ग और मंदिर परिसर में स्वच्छता व्यवस्था को और बेहतर करने के लिए अपने कर्मचारियों की संख्या बढ़ा दी है। सुलभ इंटरनेशनल के क्षेत्रीय प्रबंधक धनंजय पाठक ने बताया कि इस वर्ष लगभग 550 पर्यावरण मित्र स्वच्छता कार्यों में जुटे रहेंगे, जो कि पिछले वर्ष की तुलना में 50 अधिक हैं। इसके अतिरिक्त, धाम में 50 नए शौचालय भी लगभग तैयार हो चुके हैं, जिनका उपयोग मई महीने के अंत तक प्रारम्भ्भ कर दिया जाएगा।
प्रशासन की ओर से यह स्पष्ट किया गया कि इस बार यात्रा को बेहतर ढंग से संचालित करने हेतु हर सम्भव कदम उठाए जा रहे हैं। श्रद्धालुओं की सुरक्षा, सुविधा और स्वास्थ्य को सर्वाेच्च प्राथमिकता दी जा रही है।